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Tuesday, April 10, 2012

महाकान्त ठाकुर - की चाहलौं



मुक्ति चाहएबला लेल जेल ऐ
धरतीकेँ जेल बना देल गेल ऐ
कहाँ चाहलौं हमर जन्म हुअय?
छुच्छे भूख पियास अकाल देखल
जननीक आँखिमे घुमरैत हाहाकार देखल
ठिठुरैत पूसमे
कहाँ चाहलौं हमर जन्म हुअए?
सर्दी गर्मी वस्त्रहीन सहल
नेन्नाने नेनपन बूझल
स्वान तुल्य जीवन लेल
कहाँ चाहलौं हमर जन्म हुअए?
देश जँ डकैत लेेल
शांति ऐ लठैत लेल
भूखसँ ऐंठल कोखिसँ
कहाँहा चाहलौं हमर जन्म हुअए?
कहू कतए भूल ऐ?
पापक की मूल ऐ?
भ्रूण हत्याक सुविधा छल
कहाँ कहलौं हमर जन्म हुअए?
नंगटे तँ सभ छलौं
कहाँ कियो मर्द भेलौं
नपुंसक संसारमे
कहाँ चाहलौं हमर जन्म हुअय?
सम्राट कहए शांत रहू
भले कते क्लांत बहू
आत्मघाती बम बनए लेल
कहाँ चाहलौं हमर जन्म हुअय?
सूर्य सन इजोत होएत
कर्म नित्य कष्ट घोएत देवतोसँ श्रेष्ठ नर
तेँ चाहलौं हमर जन्म हुअए!!

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